चारधाम परियोजना(ऑल वेदर रोड्स) का निर्माण 31 मार्च 2019 तक हो जाएगा। भूमि अधिग्रहण और फॉरेस्ट क्लियरेंस के लिए सितंबर 2017 का लक्ष्य रखा गया है। कार्य में तेजी लाने के लिए साप्ताहिक मॉनिटरिंग की जा रही है। मंगलवार को सचिवालय में चार धाम परियोजना के प्रगति की समीक्षा के दौरान मुख्य सचिव एस.रामास्वामी ने सभी तरह की औपचारिकताएं पूर्ण करने के लिए अलगअलग टाइम फ्रेम तय किये। कहा कि 10 दिन बाद संबंधित जिलों के जिलाधिकारी, डीएफओ, काला(काम्पीटेंट अथॉरिटी फार लैंड एक्वीजीशन), वन निगम के अधिकारियों के साथ बैठक कर समीक्षा की जाएगी। भूअधिग्रहण के बारे में प्रारंभिक अधिसूचना, सर्वे, जनसुनवाई और संयुक्त सर्वेक्षण का 70 प्रतिशत कार्य पूर्ण कर लिया गया है। शेष कार्य टेंडर जारी करने की स्थिति में आ गए हैं। मंडलायुक्त गढ़वाल संबंधित जिलों में जाकर समन्वय बैठक करेंगे। जिससे कि कार्य में तेजी आ सके।
गौरतलब है कि चारधाम परियोजना(आल वेदर रोड्स) के निर्माण का लक्ष्य 201920 तय किया गया है। 889 कि.मी. सडकों के निर्माण पर 11,700 करोड रूपये व्यय होंगे। टूलेन की इन सडको के निर्माण में चम्बा और राडी टाप(टिहरी, उत्तरकाशी) के पास सुरंग बनाई जायेंगी। 15 बडे, 101 छोटे पुल, 3596 कलवर्ट और 12 बाईपास बनाये जायेंगे। 29 स्थानों पर स्लाइड जोन प्रोटेक्शन और सभी सडकों पर क्रैश बैरियर बनाये जायेंगे। हर 3050 कि.मी. दूरी पर लगभग 33 जन सुविधा केन्द्र होंगे।
चारधाम परियोजना में 07 सडकें शामिल है। 140 कि.मी. ऋषिकेशरूद्रप्रयाग मार्ग 2166 करोड़ रूपये, 160 कि.मी. रूद्रप्रयागमाणा मार्ग 1542 करोड रूपये, 144 कि.मी. ऋषिकेशधरासू मार्ग 1627 करोड रूपये, 124 कि.मी. धरासूगंगोत्री मार्ग 2079 करोड रूपये, 95 कि.मी. धरासूयमनोत्री मार्ग 1920 करोड रूपये, 76 कि.मी. रूद्रप्रयागगौरीकुण्ड मार्ग 806 करोड रूपये और 150 कि.मी. टनकपुरपिथौरागढ़ मार्ग 1557 करोड रूपये से बनाया जायेगा।
बैठक में अपर मुख्य सचिव ओमप्रकाश, सचिव राजस्व हरबंस सिंह चुघ, सचिव वन अरविंद सिंह हयांकी, अपर सचिव शहरी विकास विनोद सुमन सहित अंय अधिकारी उपस्थित थे। |