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विस्तृत समाचार
वनाग्नि को लेकर 20 अप्रैल को होगा माॅकड्रिल
वनाग्नि को लेकर 20 अप्रैल को होगा माॅकड्रिल चमोली 18 अप्रैल,2017(सू.वि.) वनों की सुरक्षा को लेकर 20 अप्रैल को होगा माॅकड्रिल फाॅरेस्ट फायर सीजन को देखते हुए प्रशासन ने अपनी तैयारियां तेज कर दी है। मुख्य सचिव एस0 रामास्वामी ने वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी जिला स्तरीय अधिकारियों को वनाग्नि से निपटने के लिए पूरी तरह से तैयार रहने के निर्देश दिये है। कहा कि प्रदेश के सभी जिलों में वनाग्नि से निपटने के लिए 20 अप्रैल को माॅकड्रिल आयोजित किया जायेगा। मुख्य सचिव ने जिलास्तरीय अधिकारियों के साथ वीडियों काॅन्फ्रेंसिंग कर जिला स्तर पर 20 अपै्रल को आयोजित होने वाले माॅकड्रिल की तैयारियों की समीक्षा करते हुए आवश्यक उपकरणों के साथ संचार आदि व्यवस्था की जानकारी ली। उन्होंने कहा कि घटना वाले क्षेत्र में सबसे पहले रिस्पोन्डर वहां के स्थानीय निवासी होते है इसलिए प्रत्येक गावं में महिला मंगल दल, युवा मंगल दल, ग्राम प्रहरी, वन पंचायत सदस्यों एवं प्रधानों आवश्यक प्रशिक्षण दिया जाय। आईआरएस के विशेषज्ञ बीबी गणनायक ने वीडियों काॅन्फ्रंसिंग के माध्यम से इन्सीडेंन्ट रिस्पोन्स सिस्टम की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि फाॅरेस्ट फायर भयानक आपदा है, जिसमें अरबों की सम्मपत्ति एवं जान माल का खासा नुकसान होता आया है। वनाग्नि को रोकने के लिए इन्सीडेंन्ट रिस्पोन्स सिस्टम के तहत कार्य किया जायेगा। आईआरएस सिस्टम के तहत जिला स्तर पर जिलाधिकारी को रिस्पोन्सिबिल आॅफिसर व मुख्य विकास अधिकारी को इन्सीडेंन्ट कमाॅडर बनाया गया है। इन्सीडेंन्ट कमाॅडर के साथ मीडिया आॅफिसर, लाइजेनिंग आॅफिसर तथा सेफ्टी आॅफिसर को रखा गया है, जो पूरी घटनाक्रम पर नजर रखते हुए सूचना देगें। इन्सीडेंन्ट कमाॅडर के द्वारा आॅपरेशन सेक्शन, प्लानिंग सेक्शन तथा लाॅजिस्ट सेक्शन में समन्वय स्थापित करते हुए कार्य किया जायेगा। आॅपरेशन सेक्शन के चीफ प्रभागीय वनाधिकारी को बनाया गया है। रिर्सोस मूवमेंन्ट के लिए प्लानिंग सेक्शन के माध्यम से कार्य किया जायेगा तथा संचार एवं सशाधनों का कार्य लाॅजिस्टिक सेक्शन के माध्यम से संपादित किया जायेगा। काॅन्फेंसिंग में स्टेट लेबल पर भी सूचनाओं को समय से आदानप्रदान करने की जानकारी दी गयी। जिलाधिकारी विनोद कुमार सुमन ने जानकारी दी कि वनाग्नि की रोकथाम के लिए इन्सीडेंन्ट रिस्पोंन्स सिस्टम के तहत अधिकारियों को जिम्मेदारी तय की गयी है। 20 अपै्रल को माॅकड्रिल हेतु जिला मुख्यालय में स्पोर्स स्टेडिम गोपेश्वर, तहसील स्तर पर कर्णप्रयाग, थराली, पोखरी, जोशीमठ, गैरसैंण व घाट को स्टेजिंग एरिया बनाया गया है। उन्होंने कहा कि जिला मुख्यालय की टीम मण्डल, चमोली व पीपलकोटी क्षेत्र को कबर करेगी जबकि तहसील स्तर की टीमें तहसील क्षेत्र में वनाग्नि की घटना को कबर करेगी। उन्होंने कहा कि तहसील स्तर पर 1515 लोगों की टीम व मुख्यालय स्तर में 20 लोगों को टीम में शामिल किया जायेगा। वानाग्नि की सूचना मिलने पर सभी टीमें अपनेअपने स्टेजिंग एरिया में एकत्रित होकर घटना स्थल के लिये रवाना होंगी। उन्होंने यह भी अवगत कराया कि जिले में 4 फाॅरेस्ट डिविजन है। फाॅरेस्ट फायर की सूचना के लिए जिला मुख्यालय में मुख्य कन्ट्रोल रूम तथा नन्दप्रयाग, धनपुर एवं जोशीमठ में मास्टर कन्ट्रोल रूम बनाये गये है। जिले मे 102 क्रूस्टेशन तथा 06 वाॅच टावर स्थापित है। अग्नि समन हेतु 413 फायर वाचर तथा 360 वन कर्मी तैनात किये गये है, जो फायर घटनाओं की निरन्तर निगरानी करेंगे। इस अवसर पर पुलिस अधीक्षक तृप्ति भट्ट, उप वन संरक्षक एनएन पाण्डेय, उप वन संरक्षक अलकनंदा सुरेन्द्र सिंह, उप वन संरक्षक केदारनाथ नीतू लक्ष्मी एम, सीटीओ वीरेन्द्र कुमार, डीडीओ आन्नद सिंह सहित आईटीबीपी, लोनिवि, सिंचाई, आपदा, अग्नि शमन आदि विभागीय अधिकारी मौजूद थे।